भारत के मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) डीवाई चंद्रचूड ने औपचारिक रूप से जस्टिस संजीव खन्ना को भारत के अगले मुख्य न्यायाधीश के रूप में उनकी जगह लेने की सिफारिश की है। सीजेआई कार्यालय के सूत्रों के अनुसार, केंद्र सरकार को लिखे गए एक पत्र में, सीजेआई चंद्रचूड़ जो 11 नवंबर, 2024 को रिटायर होने वाले हैं, ने कहा कि जस्टिस खन्ना को सुप्रीम कोर्ट के शीर्ष पद की जिम्मेदारी संभालनी चाहिए।
सीजेआई चंद्रचूड ने 9 नवंबर, 2022 को सीजेआई का पद संभाला था। उन्हें मूल रूप से 13 मई, 2016 को सुप्रीम कोर्ट के जज के रूप में नियुक्त किया गया था। चंद्रचूड की जस्टिस संजीव खन्ना के लिए सिफारिश भारत की न्यायपालिका के नेतृत्व में एक महत्वपूर्ण बदलाव का प्रतीक है। यह पत्र परंपरा के अनुसार लिखा गया है, जहां भारत के रिटायर होने वाले चीफ जस्टिस दूसरे सबसे वरिष्ठ जज को उत्तराधिकारी नामित करते हैं, जिनकी सिफारिश को केंद्र सरकार द्वारा मंजूरी दी जानी होती है। डीवाई चंद्रचूड का कार्यकाल 10 नवंबर को समाप्त हो जाएगा। सुप्रीम कोर्ट के जज 65 वर्ष की आयु में रिटायर होते हैं।
मौजूदा चीफ जस्टिस ने अपना पत्र कानून मंत्रालय को भेजा है। जस्टिस खन्ना को लेकर कोई विवाद नहीं है। वैसे भी चीफ जस्टिस बनने के बाद वो भी 6 महीने बाद रिटायर हो जायेंगे। केंद्र सरकार मौजूद चीफ जस्टिस के प्रस्ताव को इसलिए मान लेगी। कई बार जजों की वरिष्ठता को दरकिनार करके सरकार ने नियुक्तियां की हैं। लेकिन सुप्रीम कोर्ट में कम ही विवाद हुआ है। लेकिन तमाम हाईकोर्टों में ऐसे विवाद भरे हुए हैं।
मौजूदा चीफ जस्टिस इन दिनों तमाम कार्यक्रमों में खूब भाषण दे रहे हैं। हाल ही में उनका चर्चित बयान सामने आया था। 9 अक्टूबर को भूटान में एक कार्यक्रम में बोलते हुए, चंद्रचूड ने कहा था कि उनका मन भविष्य और अतीत के बारे में भय और चिंताओं से भरा हुआ है और इस सवाल पर विचार कर रहे हैं कि क्या उन्होंने वह सब कुछ हासिल किया जो उन्होंने करने के लिए सोचा था और इतिहास उनके कार्यकाल को कैसे आंकेगा