बीजेपी नेता और पूर्व राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने मंगलवार को यह कहकर सनसनी मचा दी कि ‘विदेश मंत्रालय और एनएसए कतर के शेखों को मनाने में विफल रहे थे और पीएम मोदी ने खान से हस्तक्षेप करने का अनुरोध किया था’। उन्होंने कहा था कि खान की मदद से उन्हें रिहा किया जा सका। हालाँकि, उनके दावे पर सरकार की ओर से कुछ प्रतिक्रिया नहीं आई, लेकिन शाहरुख ख़ान की टीम ने स्वामी के दावों को खारिज कर दिया है।
शाहरुख को यह खंडन इसलिए जारी करना पड़ा क्योंकि मंगलवार को सुब्रमण्यम स्वामी ने दावा किया कि सुपरस्टार ने जासूसी के आरोप में पकड़े गए आठ भारतीय नौसेना के दिग्गजों को रिहा करने के लिए कतर सरकार को मनाने में मदद की। उन्होंने यूएई जाने को लेकर पीएम मोदी के ट्वीट को रिट्वीट करते हुए लिखा, ‘मोदी को सिनेमा स्टार शाहरुख खान को अपने साथ कतर ले जाना चाहिए क्योंकि विदेश मंत्रालय और एनएसए कतर के शेखों को मनाने में विफल रहे थे, मोदी ने खान से हस्तक्षेप करने का अनुरोध किया, और इस तरह हमारे नौसेना अधिकारियों को मुक्त करने के लिए कतर के शेखों से एक महंगा समझौता किया।’
बयान में कहा गया है, ‘इसके अलावा, कूटनीति से जुड़े सभी मामलों को बहुत सक्षम नेताओं द्वारा सबसे अच्छी तरह से कार्यान्वयन किया जाता है। कई अन्य भारतीयों की तरह खान भी खुश हैं कि नौसेना अधिकारी घर पर सुरक्षित आए हैं और उन्हें शुभकामनाएं देते हैं।’
शाहरुख खान हाल ही में एएफसी फाइनल में विशिष्ट अतिथि के रूप में भाग लेने के लिए कतर में थे। तस्वीरों में कतर के प्रधानमंत्री मोहम्मद बिन अब्दुलरहमान बिन जासिम अल थानी उनका स्वागत करते नज़र आए थे।
नौसेना के दिग्गजों को अगस्त 2022 में जासूसी के एक कथित मामले में खाड़ी देश में हिरासत में लिया गया था। कतरी अधिकारियों ने उन पर पनडुब्बी पर जासूसी करने का आरोप लगाया था, और उन्हें उसी महीने जेल में डाल दिया गया था।
बता दें कि विदेश मंत्रालय ने सोमवार सुबह ही एक बयान में कहा था कि भारत को कूटनीतिक जीत हासिल हुई है। जासूसी के एक कथित मामले में 2022 में गिरफ्तार किए गए आठ पूर्व भारतीय नौसेना कर्मियों को कतर ने रिहा कर दिया है। विदेश मंत्रालय ने कहा था, ‘भारत सरकार कतर में हिरासत में लिए गए डहरा ग्लोबल कंपनी के लिए काम करने वाले आठ भारतीय नागरिकों की रिहाई का स्वागत करती है। उनमें से सात भारत लौट आए हैं। हम इन नागरिकों की रिहाई और घर वापसी को सक्षम करने के लिए कतर राज्य के अमीर के फ़ैसले की सराहना करते हैं।’
इस मामले को लेकर जब बीजेपी नेता स्वामी ने शाहरुख ख़ान को लेकर ट्वीट किया तो उनकी टीम ने उन दावों का खंडन किया है कि वह क़तर द्वारा आठ भारतीय नौसेना के दिग्गजों की रिहाई में शामिल थे।
शाहरुख ख़ान की टीम ने एक बयान में कहा, ‘कतर से भारत के नौसैनिक अधिकारियों की रिहाई में शाहरुख खान की कथित भूमिका से संबंधित रिपोर्टों के संबंध में शाहरुख खान के कार्यालय का कहना है कि उनकी भागीदारी के ऐसे कोई भी दावे निराधार हैं।’ टीम के अनुसार इस बात पर जोर देते हुए कि इस सफल संकल्प का कार्यान्वयन पूरी तरह से भारत सरकार के अधिकारी पर निर्भर है, स्पष्ट रूप से इस मामले में खान की भागीदारी से इनकार करते हैं। शाहरुख खान की मैनेजर पूजा ददलनी ने यह बयान जारी किया। (साभार सत्य हिन्दी)