यूनिफार्म सिविल कोड को लेकर जमीयत उलेमा-ए-हिंद ने अपनी राय तैयार की है. आज राय लॉ कमीशन को भेजी जाएगी. राय में कहा गया है कि यूनिफार्म सिविल कोड मजहब से टकराता है. ऐसे में लॉ कमीशन को चाहिए कि वो सभी धर्मों के जिम्मेदार लोगों से बुलाकर बात करे और समन्वय स्थापित करे. मौलाना अरशद मदनी की अध्यक्षता में जमीयत उलेमा ए हिंद आज अपनी राय भेजेगा, जिसके मुताबिक- कोई भी ऐसा कानून जो शरीयत के खिलाफ हो, मुसलमान उसे मंजूर नहीं करेंगे. मुसलमान सब कुछ बर्दाश्त कर सकता है, लेकिन अपनी शरीयत के खिलाफ़ नहीं जा सकता. यूनिफॉर्म सिविल कोड देश की एकता के लिए खतरा है